आंगनवाडी केन्द्रों पर पोषण आहारों में अंडा वितरण योजना के विरोध में जैन समाज ने सौपा ज्ञापन

आंगनवाडी केन्द्रों पर पोषण आहारों में अंडा वितरण योजना के विरोध में जैन समाज ने सौपा ज्ञापन

आंगनवाडी केन्द्रों पर बच्चों के समुचित विकास के लिए शुरू किया गया पोषण आहार योजना में अब अंडा वितरण भी किया जाता है. इसका विरोध करते हुए जैन समाज ने कहा है कि अबोध बच्चों को ये पता नही होता है कि क्या खाना है और क्या नही खाना अर्थात खाद्य-अखाद्य के बारे में कुछ पता नही होता है और अंडा एक मांसाहार खाद्य पदार्थ है. जबकि आंगनवाडी केन्द्रों पर विभिन्न संप्रदाय के बच्चे आते हैं इसलिए इस योजना को बंद कर देना चाहिए और इसके स्थान पर ऐसे खाद्य पदार्थ देना चाहिए जो सभी संप्रदाय के बच्चे आराम से खा सकें. इस खबर को विस्तार से पढने के लिए नई दुनिया का ये खास रिपोर्ट पढ़ें:

नई दुनियाभितरवार। नईदुनिया न्यूज

मप्र जैन समाज एवं शाकाहार समाज ने आंगनबाड़ी केन्द्रों में बच्चों को दिए जाने वाले पोषण आहार में अंडे को शामिल किए जाने की योजना का विरोध किया है। इसको लेकर बुधवार को एसडीएम कार्यालय में एसडीएम की गैर मौजूदगी में तहसीलदार कुलदीप दुबे का राज्यपाल के नाम ज्ञापन भी सौंपा गया।
जैन समाज एवं शाकाहार समाज द्वारा सौंपे गए ज्ञापन में बताया कि छोटे-छोटे बच्चों एवं गर्भवती महिलाओं को पोषण आहार उपलब्ध कराने की द्ष्टि से आंगनबाड़ी केन्द्रों पर योजना के तहत अंडा वितरण पर रोक लगाई जाए। क्योंकि आंगनबाड़ी केन्द्र पर सभी समुदाय के बच्चे आते है। इस स्थिति में बच्चों की उम्र अबोधता एवं अल्पज्ञता को ध्यान में रखते हुए विचार किया जाना चाहिए। अंडा एक मांसाहारी खाद्य है। छोटे-छोटे बच्चों को स्वयं खाद्य-अखाद्य, हित-अहित, सेवनीय-असेवनीय पदार्थों का प्रत्यक्ष ज्ञान नहीं होने से राज्य शासन एवं पालक अभिभावकों का दायित्व बनता है कि अनजाने में शाकाहारी बच्चों को मांसाहार के रूप में अंडा ना दें। उन्होंने मांग की उपयुक्त योजना अंडा को हटाकर उनकी धार्मिक परंपरा पर होने वाले कुठाराघात से बचाया जाए। कुपोषण को दूर करने के लिए अनेक प्रकार की उच्च कोटि के प्रोटीन एवं कैलोरी युक्त खाद्य पदार्थ प्रदान करके शरीर को हष्ट-पुष्ट एवं निरोग बनाया जा सकता है। ज्ञापन के माध्यम से मांग की गई कि उपर्युक्त योजना के क्रियान्वयन होने से पहले ही उसमें जहां भी अंडा को पोषक आहार के रूप में लिया जाना प्रस्तावित है, उसे तत्काल निरस्त कराकर लोगों की धार्मिक आस्था और विश्वास में पूर्ण सहयोग प्रदान किया जाए। ज्ञापन देने वालों में अभिभाषक एमपी अग्रवाल, हरीश अग्रवाल, एमसी जैन, अभिभाषक संघ अध्यक्ष राजेंद्र शर्मा, पूर्व भाजपा मंडल अध्यक्ष अनंत कुमार जैन, सुमत प्रकाश जैन, अशोक जैन, नरेंद्र जैन, दीपक अग्रवाल, कपिल अग्रवाल, विशाल सिंह रावत सहित अन्य लोग उपिस्थत रहे।
स्रोत: नई दुनिया

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