जम्मू – कश्मीर में बेरोजगारों के लिए वरदान बन रही हिमायत योजना
युवाओं को तीन महीने से 12 महीने की निशुल्क ट्रेनिंग दी जाती है। ट्रेनिंग के बाद युवाओं को नौकरी दिलवाई जाती है। हिमायत योजना कौशल विकास की ट्रेनिंग देने की योजना है। इस संबंध में जागरण की ये रिपोर्ट पढ़ें:
यह योजना केंद्र सरकार के ग्रामीण विकास मंत्रालय की ओर से जम्मू कश्मीर में हिमायत मिशन मैनेजमेंट यूनिट चलाता है। जम्मू कश्मीर में वर्ष 2011 से हिमायत योजना चलाई जा रही है। डॉ. सी रंगराजन कमेटी ने वर्ष 2011 में प्रधानमंत्री को अपनी रिपोर्ट सौंपी थी, जिसके बाद इस योजना को लागू किया गया। युवाओं को तीन महीने से 12 महीने की निशुल्क ट्रेनिंग दी जाती है। ट्रेनिंग के बाद युवाओं को नौकरी दिलवाई जाती है। अक्टूबर में 220 उम्मीदवारों को मिली थी नौकरियां जम्मू कश्मीर प्रशासन हिमायत योजना को और प्रभावी तरीके से लागू करने के लिए काम कर रहा है।
हिमायत मिशन के तहत 42 प्रोजेक्ट हाथ में लिए गए हैं, जिसके जरिए 68134 युवाओं को ट्रेनिंग देकर नौकरी दिलाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। इस समय 5815 युवा ट्रेनिंग हासिल कर रहे हैं। अब तक 10 हजार से अधिक युवाओं को ट्रेनिंग दी जा चुकी है। गत अक्टूबर में 220 उम्मीदवारों को हिमायत के तहत नौकरियां मिली थीं। इसके लिए रोजगार मेला आयोजित किया गया था, जिसमें 13 कंपनियों ने भाग लिया था।
उम्मीदवारों में नौकरियों के लिए नियुक्ति पत्र भी बांटे गए : कपिल हिमायत योजना के चीफ ऑपरेटिंग ऑफिसर कपिल शर्मा का कहना है कि अधिक से अधिक युवाओं को हिमायत के तहत ट्रेनिंग देकर रोजगार उपलब्ध करवाने के प्रयास जारी हैं। रोजगार मेला में उम्मीदवारों को नौकरियों की पेशकश हुई है। उम्मीदवारों में नौकरियों के लिए नियुक्ति पत्र भी बांटे गए। हिमायत योजना के तहत जम्मू कश्मीर के 15 से 35 साल तक के युवाओं को कौशल विकास की निशुल्क ट्रेनिंग दी जाती है।
स्रोत: जागरण